ऍफ़ एन बी ,शिमला- मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज बिलासपुर जिला को 8 करोड़ रुपये की विकासात्मक परियोजनाओं की सौगातें दीं। उन्होंने बिलासपुर के रौड़ा सेक्टर में बनने वाली प्रदेश की पहली डिजिटल लाइब्रेरी का शिलान्यास किया, जिसके निर्माण कार्य पर लगभग 3 करोड़ रुपये व्यय किए जाएंगे। मुख्यमंत्री ने धौलरा क्षेत्र में 5.18 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले कृषि भवन की भी आधारशिला रखी। उन्होंने इन भवनों का निर्माण कार्य दो वर्षों के भीतर पूरा करने के निर्देश दिए।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि प्रदेश की पहली डिजिटल लाइब्रेरी में पुस्तकों का संग्रह डिजिटल दस्तावेज के रूप में पाठकों को प्राप्त होगा, जिसे इंटरनेट के माध्यम से हासिल किया जाएगा। इसी परियोजना के तहत जिला बिलासपुर के विभिन्न क्षेत्रों की 10 पंचायतों में भी ऐसी और डिजिटल लाइब्रेरी खोली जाएंगी ताकि ग्रामीण क्षेत्र के पाठकों को इसका लाभ मिल सके। इस कार्य के लिए हिमाचल प्रदेश राज्य इलेक्ट्रॉनिक विकास निगम के साथ अनुबंध किया गया है। मुख्यमंत्री ने इस डिजिटल लाइब्रेरी को इस वर्ष के अंत तक शुरू करने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि बिलासपुर में 5.18 करोड़ रुपये की लागत से कृषि भवन भी निर्मित किया
जाएगा, जिसमें पार्किंग, उप-निदेशक कार्यालय, किसानों की बैठकें आयोजित करने के लिए हॉल, वीडियो कान्फ्रेंसिंग हॉल तथा अधिकारियों व
कर्मचारियों के लिए पर्याप्त कमरों की सुविधा होगी।पत्रकारों से बातचीत करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि
हाल ही में प्रदेश में आपदा से बहुत अधिक नुकसान हुआ है। आपदा प्रभावितों की मदद
के लिए राज्य सरकार ने 4500 करोड़ रुपये का विशेष राहत पैकेज जारी किया है और प्रभावितों को
मदद प्रदान करने के कार्य का अनुश्रवण वे स्वयं कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि राज्य
सरकार अपने संसाधनों से प्रभावित परिवारों की भरपूर मदद का प्रयास कर रही है।
बिलासपुर जिला में आपदा प्रभावितों को 25 अक्तूबर को
सहायता वितरित की जाएगी तथा वह स्वयं बिलासपुर जिला का दौरा करेंगे।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि केंद्र सरकार
से विशेष राहत पैकेज की उम्मीद दिन-प्रतिदिन धुंधली होती जा रही है, क्योंकि और राज्य से आपदा से संबंधित 12 हजार करोड़ रुपये के दावे केंद्र सरकार को भेजे गए
हैं लेकिन कोई विशेष राहत जारी नहीं हो पाई है। उन्होंने कहा कि भेजे गए दावों पर
नियमानुसार केंद्र सरकार को जल्द से जल्द धनराशि जारी करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि
भाजपा आपदा में भी राजनीतिक रोटियां सेंकती रही और प्रभावित परिवारों के साथ उनका
रवैया उदासीन ही रहा। प्रदेश में आई इस भीषण आपदा को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने और
विशेष राहत पैकेज प्रदान करने के लिए विधानसभा में लाए गए संकल्प का भाजपा ने
समर्थन नहीं किया। उन्होंने आपदा राहत कोष में रिकॉर्ड दान के लिए दानी सज्जनों का
आभार व्यक्त किया।
एक प्रश्न के उत्तर में मुख्यमंत्री ने कहा कि जिला
परिषद कैडर कर्मचारियों को अपनी हड़ताल छोड़कर काम पर लौटना चाहिए। राज्य सरकार उनकी
समस्याओं का समाधान करने के लिए गंभीरता से कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि अभी
आपदा प्रभावितों को मदद पहुंचाने का काम चल रहा है तथा उन्हें अपनी हड़ताल समाप्त
कर देनी चाहिए।
इस अवसर पर उनके साथ शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर, मुख्य संसदीय सचिव संजय अवस्थी, विधायक राजेश धर्माणी, पूर्व मंत्री राम लाल ठाकुर, पूर्व विधायक बंबर ठाकुर, बाबू राम गौतम, बीरू राम, सोहन लाल
ठाकुर, जिला कांग्रेस
अध्यक्ष अंजना धीमान, कांग्रेस नेता
विवेक कुमार, उपायुक्त आबिद हुसैन
सादिक तथा अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।